हरिद्वार। उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्यालय में दो छात्रों द्वारा आत्महत्या की चेतावनी के बाद विश्वविद्यालय प्रशासन में हड़कंप मच गया। दो छात्रों ने विश्वविद्यालय पर परीक्षा फॉर्म में विभागाध्यक्ष द्वारा हस्ताक्षर न किए जाने के बाद एक पत्र जारी कर आत्मदाह करने की चेतावनी दी थी। इसके बाद से दोनों ही छात्र गायब हो गए। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए दोनों छात्रों को खोज निकाला। प्रबंधक द्वारा इसकी सूचना पुलिस प्रशासन को दी गई। पुलिस द्वारा दोनों छात्रों की लोकेशन ट्रैस कर सोमवार को विश्वविद्यालय लाया गया। छात्रों ने विभागाध्यक्ष पर उत्पीड़न का आरोप लगाया। परीक्षा फार्म जमा कराने को लेकर हुए विवाद के बाद घंटों की मशक्कत के बाद किसी तरह मामले को शांत कराया गया।
छात्र का आरोप है कि शास्त्रीय ज्योतिष विभाग के द्वित्तीय वर्ष के परीक्षा फार्म पर विभाध्यक्ष ने कहा कि 150 श्लोक सुनने पर परीक्षा फार्म पर हस्ताक्षर होंगे। वहीं, तीन बच्चों के फार्म पर हस्ताक्षर पहले ही कर दिए गए। जबकि उनके फार्म पर हस्ताक्षर नहीं किए जा रहे थे। इसके बाद से लगातार शिक्षक द्वारा मानसिक रूप से उनका उत्पीड़न किया गया। जिस पर छात्रों ने आत्मदाह की चेतावनी दी। विश्वविद्यालय के कुलसचिव गिरीश अवस्थी ने बताया कि छात्रों ने विभागाध्यक्ष द्वारा परीक्षा आवेदन पत्र पर हस्ताक्षर न किए जाने को लेकर एक पत्र लिखकर आत्मदाह की चेतावनी दी थी। इसकी सूचना तत्काल पुलिस को दी गई। पुलिस छात्रों और उनके परिजन को विश्वविद्यालय लेकर आई। इसके बाद मामला बातचीत करके निपटा दिया गया। साथ ही छात्रों के फॉर्म भी भर दिए गए। दोनों छात्रों की चेतावनी के बाद छात्र गिरीश पांडे को पठानकोट से जबकि दूसरे छात्र को मुजफ्फरनगर से बरामद किया गया।