रुड़की/संवाददाता
भारतीय किसान यूनियन (टिकैत) के जिलाध्यक्ष विजय कुमार शास्त्री के नेतृत्व में पुरानी कहचरी पहुंचकर सैकड़ों किसानों ने कंेद्र सरकार द्वारा लोकसभा व राज्यसभा में जबरदस्ती पास किये गये किसान विरोधी तीन अध्यादेशों के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया और इन बिलों को वापस लेने की मांग करते हुए सीएम व पीएम के नाम एक ज्ञापन जेएम रुड़की को सौंपा गया।
जिलाध्यक्ष विजय शास्त्री ने बताया कि एक तो कोरोना महामारी के चलते आज किसान बेहद तंगी के दौर से गुजर रहा हैं, उधर केंद्र सरकार ने कृषि अध्यादेश किसानों पर जबरदस्ती थोप दिया, जिसका किसान संगठन व नेता जमकर विरोध कर रहे हैं। शास्त्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने इस किसान विरोधी काले कानून को लागू कर किसानों की आजीविका समाप्त कर दी हैं और उनकी तरक्की के रास्ते भी बंद कर दिये। आज केंद्र सरकार ने साबित कर दिया है कि वह सिर्फ और सिर्फ कॉरपोरेट कम्पनियों को ही पसंद करती हैं, जबकि देश के किसानों से सरकार को कोई सरोकार नहीं हैं। शास्त्री ने बताया कि 5 जून को लागू हुये इस अध्यादेश के खिलाफ देश का किसान इकट्ठा होकर सरकार की ईंट से ईंट बजा देगा और आगामी चुनाव में यदि भाजपा का विधायक या सांसद उनके क्षेत्रों में वोट मांगने के लिए आये, तो उनका जमकर विरोध किया जायेगा और उन्हें खदेड़ा भी जायेगा। वहीं गढ़वाल मण्डल अध्यक्ष संजय चौधरी ने कहा कि केंद्र सरकार लगातार किसान विरोधी बातें कर उनका शोषण कर रही हैं। देश का किसान इस काले कानून का जमकर विरोध करेगा। उन्होंने कहा कि आगामी 25 सितम्बर को यूपी और हरिद्वार के किसान सहारनपुर कमीशनरी पर एकत्रित होंगे और राष्ट्रीय अध्यक्ष चौ. राकेश टिकैत के नेतृत्व में घेराव किया जायेगा। साथ ही कहा कि आज हरिद्वार और यूपी में एक दिवसीय धरना-प्रदर्शन किया गया और सीएम व पीएम के नाम एक ज्ञापन जेएम को सौंपा गया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के इस काले कानून को दूसरी सरकार हटायेगी और अब केंद्र सरकार से आर-पार की लड़ाई लड़ी जायेगी। ज्ञापन देने वालों में ओमप्रकाश नेता, रवि कुमार, संजय चौधरी समेत बड़ी संख्या में किसान शामिल रहे।